नकल से निकलता उत्तर प्रदेश: सीएम योगी ने दिलाई बीते दौर की याद, रचा नए आत्मनिर्भर यूपी का चित्र

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने लखनऊ में एक निजी कार्यक्रम के दौरान राज्य की शिक्षा व्यवस्था और बीते वर्षों की नकल संस्कृति पर बेबाक बयान दिया। उन्होंने बाराबंकी जिले के एक छात्र राम केवल की सफलता को उदाहरण बनाकर बताया कि कैसे आज का उत्तर प्रदेश मेहनत और ईमानदारी के दम पर नई ऊंचाइयों की ओर अग्रसर है।
मुख्यमंत्री ने राम केवल की प्रशंसा करते हुए कहा कि सरयू तट पर बसे एक छोटे से गांव ‘बेस’ के मजदूर परिवार का यह छात्र आज गांव का पहला बालक बन गया है जिसने हाई स्कूल प्रथम श्रेणी में पास कर इतिहास रच दिया है। योगी ने इसे नए उत्तर प्रदेश की प्रेरक तस्वीर बताया।
अपने भाषण में मुख्यमंत्री ने कहा, “एक समय था जब उत्तर प्रदेश की पहचान नकल से होती थी। जब राजनाथ सिंह जी प्रदेश के शिक्षा मंत्री थे, उन्होंने नकल पर कड़ा प्रहार किया। लेकिन एक राजनीतिक दल ने तो बाकायदा नकल को ‘जनमसिद्ध अधिकार’ कहकर इसे बढ़ावा देने की घोषणा की थी। इसका दुष्परिणाम यह हुआ कि प्रदेश के युवाओं की पहचान संकट में पड़ गई।”
योगी आदित्यनाथ ने कहा कि जिस उत्तर प्रदेश ने आजादी के समय देश को आर्थिक रूप से संबल दिया था, उसी प्रदेश को अपनी पहचान के लिए संघर्ष करना पड़ा। लेकिन बीते दस वर्षों में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में देश ने ‘एक भारत, श्रेष्ठ भारत’ की ओर कदम बढ़ाया और आज उत्तर प्रदेश देश की अर्थव्यवस्था का ‘ग्रोथ इंजन’ बन चुका है।
उन्होंने यह भी कहा कि आज प्रदेश के बच्चे शिक्षा के क्षेत्र में लगातार सफलता की नई कहानियां लिख रहे हैं। यह सिर्फ सरकार की नहीं, बल्कि पूरे प्रदेश के सहयोग और आत्मविश्वास का परिणाम है।